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अप्रैल, 2020 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं
मोदी जी का यह बहुत ही सार्थक और सकारात्मक आव्हान है . इसका मुख्य उद्देश्य लोगों को लॉक डाउन में रहते हुए दिनभर नकारात्मक समाचार मिलने से उत्पन्न अवसाद और कुंठा की भावना से बाहर निकाल कर नयी ऊर्जा और सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ने का साहस पैदा करना है. इस समय शायद सभी लोग कुछ न कुछ मनोवैज्ञानिक दबाव में हैं, जिसकी कुंठा से कई बार यह लगने लगता है कि उनको अनावश्यक रूप से रोक रखा गया है, जैसे जो कुछ हुआ है या हो रहा है वह स्वयं उसका हिस्सा नहीं है. मोदी जी के संबोधन के बाद , 5 अप्रैल को रात्रि 9:00 बजे, 9 मिनट के लिए दीप प्रज्वलित करने के इस कार्य के लिए सभी को ६० घंटे का समय भी मिल गया जिससे लोग इस पर खुलकर चर्चा कर सकें . इतने समय में हम सब महसूस करेंगे कि कितना बड़ा अभियान जिसका उद्देश्य राष्ट्र और समूची मानवता की रक्षा करना है और हमारा घर में बने रहना भी इस अभियान के लिए एक आहुति के समान है. इसका एक वैज्ञानिक पहलू भी है और वह है Social Distancing करने के कारण उत्पन्न हुयी विरिक्तता को Social Distancing का पालन करते हुए भी सामूहिकता में बदलना . विरिक्तता वह भाव है जो मनुष्य क